बलरामपुर कोतवाली थाने में स्वास्थ्य कर्मचारी का मौत के बाद पूरे बलरामपुर शहर में अफरा तफरी का माहौल
*जिला बलरामपुर रामानुजगंज*
*Top news छत्तीसगढ़ रिपोर्ट सादाब अंसारी का।*
मामले का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि गुरु चंद मंडल पिता श्री शांति मंडल द्वारा दिनांक 29. 09.2024 को थाना बलरामपुर में उसकी पत्नी रीना मंडल के गुम होने की सूचना दिया गया, जिस पर थाना बलरामपुर में गुम इंसान क्रमांक 42/2024 दर्ज कर उसकी पत्नी की पतासाजी शुरू की गई। इसी मध्य गुम महिला के भाई बदला गिरी ने पुलिस अधीक्षक कार्यालय बलरामपुर में रीना मंडल को उसके पति गुरु चंद मंडल एवं उसके ससुर शांति मंडल के द्वारा हत्या किए जाने का संदेह जताते हुए शिकायत दी गई। प्रकरण की विवेचना में आए तथ्यों के आधार पर दिनांक 23.10.2024 की शाम को गुरु चंद मंडल एवं शांति मंडल को थाना बलरामपुर पूछताछ करने हेतु तलब किया गया। दिनांक 24.10.2024 के दोपहर लगभग 15.05 बजे गुरु चंद मंडल द्वारा थाने में स्थित शौचालय की खिड़की (वेंटीलेशन) की ग्रिल में गमछा से फांसी लगा लिया गया। जिसे थाना स्टाफ के द्वारा तत्काल जिला अस्पताल बलरामपुर ले जाया गया जहां डॉक्टर द्वारा गुरु चंद मंडल को मृत घोषित कर दिया गय।
प्रकरण में थाना बलरामपुर में मार्ग क्रमांक 72/2024 धारा 194 बी.एन.एस.एस. कायम किया गया। चुकी प्रकरण में मृत्यु पुलिस थाना में हुई थी, अतः राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के दिशा निर्देश के अनुरूप माननीय जिला एवं सत्र न्यायाधीश, बलरामपुर रामानुजगंज को एक न्यायिक मजिस्ट्रेट नियुक्त करने हेतु अनुरोध किया गया। घटनास्थल का निरीक्षण हेतु एफ.एस.एल यूनिट को तत्काल सूचित किया गया।
मृतक गुरु चंद्र मंडल जिला अस्पताल बलरामपुर में राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन में चपरासी के पद पर कार्यरत था। घटना की जानकारी अस्पताल के अधिकारी /कर्मचारियों को होने पर लगभग 16.30 बजे थाना बलरामपुर पहुंचकर उनके द्वारा पुलिस के विरुद्ध नारेबाजी करते हुए तत्पश्चात लगभग 17.40 बजे थाना के सामने मुख्य मार्ग में बैठकर मार्ग अवरुद्ध कर दिया गया। बाद में इस घटना को लेकर भीड़ में आक्रोश बढ़ने लगा तथा भीड़ द्वारा थाना परिसर के भीतर घुसकर पुलिस बल के ऊपर पत्थर बाजी तथा शासकीय संपत्ति को नुकसान पहुंचाया गया। इस दौरान उपस्थित पुलिस अधिकारियों द्वारा आक्रोशित भीड़ को समझाइए देकर उन्हें नियंत्रित करने का काफी प्रयास किया गया, जिसके बाद पुलिस द्वारा भीड़ को तीतर बितर करने के लिए हल्का बल प्रयोग कर स्थिति नियंत्रण की गई। इस संबंध में थाना बलरामपुर में अपराध क्रमांक 160 /2024 धारा 132, 221, 121 (I), 296, 115(2), 126(I), 351 (3), 324(4), 190, 191(I), 191 (2), 195(I) बी.एन.एस. एवं लोक संपत्ति क्षति निवारण अधिनियम की धारा 3 के अंतर्गत पंजीकृत किया गया।
माननीय न्यायिक मजिस्ट्रेट द्वारा दिनांक 25 .10.2024 को शव पंचनामा एवं अन्य जांच की कार्रवाई की गई। दिशा निर्देशों के अनुरूप मृतक का पोस्टमार्टम डॉक्टरों की एक टीम के द्वारा किया गया। वीडियो ग्राफी एवं अन्य जांच की कार्रवाई की गई। जिला अस्पताल परिसर में उपस्थित भीड़ से पुलिस की धक्का मुक्की हुई, जिस पर पुलिस द्वारा संयम रखते हुए भीड़ को समझाइए देकर शांत किया गया। मृतक का विधिवत पोस्टमार्टम करा कर अंतिम क्रिया कर्म हेतु शव परिजनों को सुपुर्द किया गया। प्रकरण में माननीय न्यायिक मजिस्ट्रेट द्वारा जांच की जा रही है।
मामले में प्रथम दृष्टि या लापरवाही बरतना परिलक्षित होने पर थाना प्रभारी एवं अन्य एक आरक्षक को निलंबित कर रक्षित केंद्र बलरामपुर संबद्ध किया गया। वर्तमान में कानून व्यवस्था की स्थिति नियंत्रण में है। गतिविधियों पर सतत निगाह रखी जा रही है।
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